बलिया /सोहाव – जिन दलहनी फसलो अरहर ,चना ,मटर, एवं मसूर में फूल आ गया है उन फसलो को बेमौसम वर्षा होने से ज्यादा नुकसान हो सकता है |आचार्य नरेन्द्रदेव कृषि एवं प्रौधौगिक विश्वविद्यालय कुमारगंज अयोध्या द्वारा संचालित कृषि विज्ञान केंद्र सोहाव बलिया के अध्यक्ष प्रो . रवि प्रकाश मौर्य ने बताया कि सरसों की फसल को फूल होने की अवस्था में क्षति होगी , और फली बन रहा है तो लाभ होगा | आलू की फसल पकने की अवस्था में है तो क्षति होगी , गेहू की फसल को लाभ होगा |परन्तु जो किसान सिचाई कर चुके हैं उन्हें नुकसान हो सकता है |बेमौसम बरसात से गन्ने की फसल को लाभ होगा |सब्जियों में जहाँ अगेती लता वर्गीय सब्जी जैसे – लौकी , कद्दू , नेनुआ ,करेला ,खीरा , ककडी , खरबूजा ,तरबूजा की बुवाई हो चुकी है उन्हें ज्यादा क्षति हो सकती है |फलदार वृक्ष में आम के लिए बहुत ही फायदा होगा क्योकि उसमे लगने वाला फुदका कीट एवं चूर्णी फफुदं बीमारी के लगने की सम्भावना कम होगा |ऐसे समय में किसान भाईयों को चाहिए कि फसलो में खेत से पानी निकालने की व्यवस्था करे |